मैं तो इश्क़ लिखने चला, इंक़लाब लिख गया, आई जंग की घड़ी है ,इसको स्वीकार लो !!
जिसकी कलम मे यार हो, पंक्ति मे जिसकी प्यार हो,उस कवि को आज सिरे से तुम नकार दो !!
चाहे हार हो या जीत हो ,देशभक्ति के ही गीत हो, परीक्षा अब निकट है इसको मान लो !!
चाहे छोटा हो या बड़ा, हिन्द के लिए खड़ा, देख के दुश्मन डरा ,संग्राम अब निकट है इसको जान लो !!
जब गौ का अपमान हो, श्री राम का उपहास हो, हिंदुत्व का परिहास हो ,जंग अब निकट है इसको स्वीकार लो !!
मैं अकेला चला, कारवाँ बन गया, वादा है ये भक्त का , सौदा है ये रक्त का, हथेली पे है लेके मस्तक चला !!
मुझको ऐसे वीर दो, दुश्मन का सीना चीर दो, मस्तको का झुण्ड हो, संग्राम अब प्रचंड हो !!
चारो और रामराज हो, केसरिया ही लिवास हो, पुण्य का अब काम हो, हर शिला पे राम हो, हिंदुत्व का उद्घोष हो इस हकीकत को तुम अब जान लो !!
हिन्द की कभी शाम न होने देंगे, वीरो की कुर्बानी कभी बर्बाद न होने देंगे, जब तक बची है एक बूंद भी लहू की हिंदुत्व को कभी बदनाम न होने देंगे !!
जब सारे वानर मिलकर सहस्त्र योजन समुद्र पर सेतु बांध सकते है तो हम तो मनुष्य है ,क्या हम श्रीराम जन्म भूमि पे राममंदिर का सपना साकार नही कर सकते क्या !!
मैं तो अकेले ही जा रहा हू श्रीराम की सेवा मे फैसला आपके हाथ मे है आप हमारा साथ देते है या नही,
भविष्य मैं जल्द ही एक व्यापक आंदोलन होगा हिन्दू रक्षा समिति द्वारा ..
कृपया ज्यादा से ज्यादा संख्या मैं हमसे जुड़े.....
bloggerpct
Posted by prakash chand thapliyal
जिसकी कलम मे यार हो, पंक्ति मे जिसकी प्यार हो,उस कवि को आज सिरे से तुम नकार दो !!
चाहे हार हो या जीत हो ,देशभक्ति के ही गीत हो, परीक्षा अब निकट है इसको मान लो !!
चाहे छोटा हो या बड़ा, हिन्द के लिए खड़ा, देख के दुश्मन डरा ,संग्राम अब निकट है इसको जान लो !!
जब गौ का अपमान हो, श्री राम का उपहास हो, हिंदुत्व का परिहास हो ,जंग अब निकट है इसको स्वीकार लो !!
मैं अकेला चला, कारवाँ बन गया, वादा है ये भक्त का , सौदा है ये रक्त का, हथेली पे है लेके मस्तक चला !!
मुझको ऐसे वीर दो, दुश्मन का सीना चीर दो, मस्तको का झुण्ड हो, संग्राम अब प्रचंड हो !!
चारो और रामराज हो, केसरिया ही लिवास हो, पुण्य का अब काम हो, हर शिला पे राम हो, हिंदुत्व का उद्घोष हो इस हकीकत को तुम अब जान लो !!
हिन्द की कभी शाम न होने देंगे, वीरो की कुर्बानी कभी बर्बाद न होने देंगे, जब तक बची है एक बूंद भी लहू की हिंदुत्व को कभी बदनाम न होने देंगे !!
जब सारे वानर मिलकर सहस्त्र योजन समुद्र पर सेतु बांध सकते है तो हम तो मनुष्य है ,क्या हम श्रीराम जन्म भूमि पे राममंदिर का सपना साकार नही कर सकते क्या !!
मैं तो अकेले ही जा रहा हू श्रीराम की सेवा मे फैसला आपके हाथ मे है आप हमारा साथ देते है या नही,
भविष्य मैं जल्द ही एक व्यापक आंदोलन होगा हिन्दू रक्षा समिति द्वारा ..
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